Ganesh Gayatri Mantra

गणेश गायत्री मंत्र

सत नमो आदेश | गुरूजी को आदेश | ॐ गुरूजी | साचा मंत्र भजन महेश | मूल महल में बसे गणेश | गुदाचक्र पदम चक्र करलो पाक, ह्रदय परम ज्योति प्रकाश गणपति स्वामीजी सन्मुख रहे ह्रदय ज्ञान अगम से कहे | ॐ सोहं सत्य का शब्द कोई नर योगीश्वर विरला लहे | उर्ध्वमुख वेद कहे सर्व कमल में फिर करले | झिलमिल - झिलमिल ज्योति जगावे, इडा पीँगला सुषुम्ना तीनों को एक घर ल्यावे बंक जाल बैठकर आवे हंस परम हंस का घट भीतर दर्शन पावे | कहे श्री नाथजी सुन भाई औघड़ पीर त्रिकुटी समाधि शिव शून्य में लगावे | नाद बिन्द की गांठ ले ब्रह्माण्ड चढ़ जावे | योनी संकट बहुड नहीं आवे, गणेश का मंत्र सत्य कर ध्यावे | अयोनि शंकर प्रसन्न हो जावे | झिलमिल झणकार बाजा बाजे तंत्त सार बतसार, गुरु के रहम से अकल के फंद से, मूलस्थान चतुर्दल पंखडी | जहां गणेश देवता का वासा | शक्ति स्वरुप मूसावाहन गंगा, गोदावरी करते स्नान | कोई चढ़ावे जान, कोई चढ़ावे अनजान | जान चढ़ावे मुक्ति फल पावे | अनजान चढ़ावे अकारथ जावे | छ: हजार जप अश्वमेघ किये का फल | तीन हजार जाप की पूजा गणेश देवता तुम्हारे अर्पण | ॐ वक्रत्तुण्डाय, विद्महे एक दन्ताय धीमही तन्नो गणेश प्रचोदयात, ॐ गं.गं. गणपतीय नमः | श्री नाथजी गुरूजी को आदेश | आदेश |

ॐ गौरी गौरजा विदमहे अम्बिकाय धीमही तन्नो रुद्र प्रियः प्रचोदयात | श्री आदि शक्ति को आदेश | आदेश |